उसने कहा...


जान !
ये कैसी आज़माइश है
तुम न मेरे साथ रह सकती हो
न मेरे बग़ैर रह सकती हो...
मैं न तुम्हारे साथ रह सकता हूं
और न ही तुम्हारे बग़ैर रह सकता हूं

मेरे महबूब !
ये क्या कम है
कि हम एक-दूसरे के दिल में रहते हैं
-फ़िरदौस ख़ान

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1 Response to "उसने कहा..."

  1. Rajendra kumar says:
    25 अप्रैल 2015 को 1:54 pm बजे

    बहुत ही सुन्दर पंक्तियाँ, आभार।

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